ज्ञानवापी केस में बीते दिन बुधवार को बड़ा फैसला आया। स्थानीय कोर्ट ने ज्ञानवापी परिसर स्थित व्यास तहखाने में हिंदू पक्ष को पूजा करने की इजाजत दे दी है। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि विश्वनाथ मंदिर के पुजारियों से पूजा कराई जाए बैरिकेडिंग हटाने की व्यवस्था की जाए।वहीं इस ज्ञानवापी के फैसले के बाद एआईएमआईएम के प्रमुख असददुद्दीन ओवैसी का बड़ा बयान सामने आया है। ओवैसी ने कहा कि कोर्ट ने जो फैसला लिया है उससे पूरा मामला तय हो गया है…यह पूजा स्थल कानून, 1991 का उल्लंघन है…यह पूरी तरह से गलत फैसला है।
वहीं इस मामले पर ओवैसी ने बीते दिनों भी विवादित बयान दिया था। कहा था कि आज जज साहब के रिटायरमेंट का आखिरी दिन था। 17 जनवरी को रिसीवर बैठाया। इन्होंने पूरा केस ही डिसाइड कर दिया। जब तक प्रधानमंत्री नरेंद मोदी इस एक्ट पर अपनी चुप्पी तोड़ेंगें नहीं कि वो इसके साथ हैं, तब तक ये सब चलता रहेगा। बाबरी विध्वंस से जुड़े एक सवाल पर उन्होंने कहा कि हां, 6 दिसंबर दोबारा हो सकता है, क्यों नहीं हो सकता।